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ब्लैकमेल

देवांशी trunk से तुरंत ही बाहर आई और लंबी लंबी सांसे लेने लगी । 

वही अनंत देवांशी को अपने सामने देखकर बहुत हैरान था , उसने हैरानी जाहिर करते हुए कहा - " तुम कौन हो . . .? "

 देवांशी ने अपने सीने पर हाथ रखा हुआ था और अनंत की ये बात सुनकर वो गुस्से से बोली - " मुझे सांस लेने में भी तकलीफ हो रही थी अगर मर जाती तो । "

 ये सुनकर अनंत ने अपनी भौहे ऊपर करते हुए कहा - " तुम हो कौन और मेरी कार के trunk में क्या कर रही हो । "

ये सुनकर देवांशी ने गहरी सांस ली और गुस्से से अनंत को देखते हुए बोली - " पहले मुझे ठीक से सांस तो लेने दो । "

 अनंत देवांशी को ऊपर से लेकर नीचे तक देखने लगा , देवांशी ने एक गुलाबी रंग का अनारकली sut पहना था और उस पर उसने एक शॉल ओढ़ी हुई थी जिसे देखकर अनंत याद करने लगा । 

 अनंत शॉल देखकर तुरंत ही समझ गया कि ये वही लड़की है जो उसे गाना गाते हुए देख गई थी । 

ये याद करते ही अनंत ने अपनी आंखे छोटी कर ली और अपनी भारी आवाज में बोला - " तुम मेरा पीछा कर रही थी . . . ? "

 ये सुनकर देवांशी ने अनंत की तरफ देखते हुए मुंह बनाते हुए कहा - " ओह हिडन सुपरस्टार मैं तुम्हारा पीछा नही कर रही थी , इन्फेक्ट मेरी किस्मत तुम्हारा पीछा कर रही है । "

हिडन सुपरस्टार सुनकर ही अनंत समझ गया देवांशी उसके बारे में जान गई है , जिसे अनंत यू ही एक ही जगह पर जम सा गया । 

वही देवांशी ने कहा - "अह वैसे मैं तुम्हारे बारे में सब कुछ जान गई हूं, तुम हिडन सुपरस्टार हो और तुम्हारी आवाज का इस्तेमाल कोई ओर कर रहा है . . ? "

 

ये सुनकर अनंत ने गुस्से से कहा - " अपनी बकवास बंद करो, ऐसा कुछ नही है । "

 वही कार बीच रास्ते मे रोकी गई थी जिसे बीच रास्ते मे अंधेरा था यहां तक कि देवांशी का गोल चेहरा कार की लाइट में हल्का सा नजर आ रहा था । 

 वही आकाश देवांशी की बात सुनकर घबरा गया और वो कार के पीछे छुपकर देवांशी को देख कर मन ही मन बोला - " हे भगवान अब सभी को सारी सच्चाई पता चल जाएगी और मेरी जॉब जाएगी वह अलग । "

देवांशी अनंत की बात सुनकर अपनी उंगली अनंत पर पॉइंट करते हुए कहने लगी - " ओह हिडन मुझसे उलझने की कोशिश मत करना वरना कल न्यूज चैनल और पेपर में तुम्हारे बारे में ही छपेगा समझे तुम । "

अनंत को इस वक्त देवांशी पर बेहद गुस्सा आ रहा था , फिर भी उसने खुद को शांत किया और शांत आवाज में पूछा - " तुम्हें क्या चाहिए . . . ? "

 देवांशी के चेहरे पर हल्की सी मुस्कुराहट आ गई , और उसने कहा - " मैं तुम्हारे बारे में सब कुछ जान गई हूं, यहां तक कि तुम कौन हो और क्या हो । "

अनंत ने ये सुनकर आकाश की तरफ देखा , आकाश समझ गया कि अनंत गुस्से से देख रहा है , इसी लिए वो हड़बड़ा सा गया । अनंत जान गया कि आकाश के कार में सब बड़बड़ाने पर देवांशी को जो नही मालूम था वह सब भी पता चल गया । 

 

यहीं सब सोचकर अनंत के हाथों की मुट्ठियां कस गई , वही देवांशी ने कहा - "देखो अगर तुम चाहते हो कि मैं तुम्हारे बारे में कुछ भी न किसी को बताऊँ तो बदले में तुम्हें मुझे रहने के लिए जगह और खाना पीना ये सब देना होगा । "

 अनंत जो गुस्से में था वो देवांशी की बात सुनकर अपने चेहरे के भाव शांत कर देता है , 

वही देवांशी ने कहा - " मुझे बस इतना चाहिए जबतक मैं यहां हूं , अगर तुमने मेरी इस ऑफर को इनकार किया तो sorry फिर मुझे बताने से कोई रोक नही सकता । "

 

 "मुझे मंजूर है । अनंत ने तुरंत ही कहा क्योंकि अनंत के पास इस वक्त। देवांशी की बात मानने के अलावा कोई ऑप्शन नही था । 

देवांशी का खुशी का ठिकाना नही था , आखिर दिल्ली आते ही उसे रहने के लिए जगह और खाने पीने का अरेंज हो गया था । 

वही अनंत ने देवांशी की तरफ देखते हुए कहा - "मैं तुम्हारी कंडीशन मानने के लिए तैयार हूं । लेकिन मुझे तुम्हारे बारे मे सब जानना है , तुम कौन हो और क्यों ये चाहती हो . . . ? "

 

इस बात पर देवांशी ने मुंह बनाते हुए - " तुम्हें ये सब जानने की जरूरत नही है , तुम्हें मेरा शुक्रगुजार होना चाहिए कि मैं तुम्हारा सच छुपाने के लिए मान गई । "

अनंत इस बात पर कुछ कहने वाला था, इतने में आकाश अनंत के पास आया और अनंत का हाथ पकड कर एक साइड में ले गया और बोला- " हमें इस लड़की की बात मान लेनी चाहिए ,वरना ये भी हो सकता है ये लड़की आप की सच्चाई सभी को बता दे । "

 

अनंत देवांशी को ऊपर से लेकर नीचे तक देखने लगा , अनंत को देवांशी कुछ ठीक नही लगी , लेकिन इस वक्त अनंत के पास कोई ऑप्शन नही था , इसी लिए वो देवांशी की डिमांड पूरी करने के लिए मान गया । 

 अनंत देवांशी के पास आया और बोला - " ठीक है मैं तुम्हारी बात मानने के लिए तैयार हूं , पर अगर तुम ने गलती से भी मेरी सच्चाई किसी के भी सामने बताई तो मैं तुम्हें आसानी से छोडूंगा नही । "

देवांशी दिखने में दुबली पतली और गोरा रंग पर जितनी दिखने में गांव की नजर आ रही थी उतनी ही चतुर चुलबुली और दिमाग से काम लेने वाली ।

देवांशी की उम्र की बात की जाए तो वो 20 साल की थी और गांव से दिल्ली अपने किसी मकसद से आई थी । 

 

अनंत ने काफी कुछ सोचा और कहा - " लेकिन तुम्हें मेरे साथ रहना होगा । "

ये सुनकर देवांशी हैरान रह गई और उसने तुरंत ही रियेक्ट करते हुए कहा - " क्या ! क्या कहा तुमने . . . ? "

अनंत ने अपनी भौहे उपर करते हुए कहा - " यहीं की तुम्हें मेरे साथ रहना होगा । "

वैसे तो अनंत देवांशी को अलग घर मे रख सकता था पर अनंत को इस बात का डर सताने लगा कि कही ये लड़की उसकी सच्चाई सभी के सामने न ला दे , इसी लिए अनंत का यहीं फैसला था कि वो देवांशी को अपने साथ रखेगा । "

और देवांशी इस वक्त छुपना चाहती थी इसी लिए वो मान गई और कहने लगी - " ठीक है मैं तैयार हूं । "

" अब ये बताओ तुम्हारा नाम क्या है . . .? " अनंत ने पूछा जिसे देवांशी घबरा गई और मन ही मन बोली - " सच नाम बताया तो मेरे लिए मुसीबत बन सकता है इसी लिए मुझे झूठ ही नाम देना होगा । "

 इतना मन मे सोचकर देवांशी ने अपना हाथ आगे बढ़ाया और कहा - "मेरा नाम देवी है । "

देवी नाम सुनकर अनंत तुरंत समझ गया कि उसके सामने खड़ी लड़की जरूर झूठ कह रही है , फिर भी अनंत ने कुछ नही कहा और एक नजर देवांशी के हाथ की तरफ देखकर अपनी कार की तरफ जाते हुए बोला - " मेरी सच्चाई किसी को पता नही चलनी चाहिए वरना तुम्हारे लिए ठीक नही रहेगा । "

 

 

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 तकरीबन 1 घंटे बाद.....

 

अनंत की कार एक बड़ेसे अपार्टमेंट के पार्किंग एरिया में आकर रुकी । 

 

अनंत आगे वाली सीट पर बैठा था तो वही देवांशी पीछे वाली सीट पर सो गई थी । 

 अनंत ने एक नजर देवांशी की तरफ देखा जो गहरी नींद में सोई थी । 

 अनंत उसे देखकर आकाश की तरफ देखते हुए बोला - " ये मुसीबत तुम्हारे कारण ही मेरे पीछे आई है । "

 इतना कहकर अनंत तुरंत ही कार से बाहर निकल गया । और लिप की तरफ बढ़ गया । वही आकाश हड़बड़ाहट में कार से बाहर आया फिर कहने लगा - " सर ये लड़की । "

 इतना सुनकर अनंत रुक गया और बोला - " उसे मेरे अपार्टमेंट में लेकर तुम आओ । "

 इतना कहकर अनंत चला गया वही आकाश मुंह बनाते हुए बोला - " इनकी गलती की वजह से मुझे इस लड़की को झेलना होगा । "

 

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अगली सुबह....

 अनंत का अपार्टमेंट काफी बड़ा और मॉर्डन तरीके से सजाया गया था ।

 अनंत काफी रॉयल अपार्टमेंट में रह रहा था , यहां तक कि इस अपार्टमेंट में हर चीज कीमती थी । 

 और अपार्टमेंट पूरा वाइट प्रिंट किया हुआ नजर आ रहा था । 

 आज अनंत को जल्दी में जाना था इसी लिए वो जल्दी जाग गया और तैयार होकर अपने कमरे से निकल गया । 

तभी अनंत की नजर लिविंग रूम के सोफे पर लेटी देवांशी पर गई , देवांशी को देखकर अनंत की आंखे छोटी हो गई पर अगले ही पल अनंत ने देवांशी को इग्नोर कर दरवाजे की तरफ बढ़ गया । 

 तभी बाहर से किसी ने डोरबेल बजाई और अनंत ने दरवाजा खोला तो उसके सामने एक खूबसूरत लड़की खड़ी थी जिसने ब्लैक मिनी स्कर्ट और रेड वेलवेट का टॉप पहना था । दिखने में वो लड़की बहुत खूबसूरत नजर आ रही थी ।

उस लड़की को देखकर अनंत की आंखे छोटी हो गई और उसने अपनी भारी आवाज में कहा - " तुम यहां क्या कर रही हो । "

 

 क्रमशः

 

 कौन है ये लड़की जिसे देखकर अनंत के भाव बदल गए जानने के लिए पढ़ते रहिए ।