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the blue diamond bracelet

अब आगे

         सिग्मा जे कंपनी का नाम सुनकर सिद्धार्थ और माया दोनों ही शॉक्ड हो जाते हैं, क्योंकि सिग्मा के कंपनी बहुत ही पहुंची हुई कंपनी थी, लेकिन उसका सीईओ कौन है आज तक किसी को नहीं पता था, जिस मूवी की ऑडिशन के लिए माया और श्रद्धा वहां आए थे उसे मूवी की स्क्रिप्ट भी उसी कंपनी से थी, वह कंपनी ज्वेलरी भी डिजाइन करती थी उसके डिजाइनर को भी किसी ने नहीं देखा था बस खबर इतनी थी कि जो उसकी सीईओ है वही उसकी डिजाइनर भी है।

लेकिन वह कौन है इस बारे में किसी को नहीं पता। माया सिद्धार्थ के हाथ को पकड़ कर कहती है, सिद्धार्थ इस कंपनी के बारे में तो किसी को कोई नहीं पता कि कौन है इसका सीईओ तो तुम्हारी इस वाइफ को कैसे पता चल गया, और पता चला तो चला वह इसे क्यों सपोर्ट कर रहा है यह सब कहते हुए वह सिद्धार्थ को भड़काने का काम कर रही थी और सिद्धार्थ भी उसकी बातें सुनकर गुस्सा हो जाता है।

सिद्धार्थ आगे आता है और श्रद्धा के बाजू को पड़कर कहता है तुम इस कंपनी के सीईओ को कैसे जानती हो, श्रद्धा उसके हाथ को खुद से झक देती है और कहती है तुम्हें इससे क्या मतलब मैं किसी को भी जानू, तुम मुझसे सवाल नहीं कर सकते क्योंकि मैं और तुम दोनों अलग हो चुके हैं। उसके बाद पर सिद्धार्थ गुस्से से कहता है हमारा डिवोर्स नहीं हुआ है अभी तक। और मैं तुम्हें कोई डिवोर्स नहीं देने वाला। लिखे श्रद्धा भी इस टूर में उसे जवाब देती है लेकिन मुझे तुमसे डिवोर्स चाहिए यह बोलकर वह वहां से जाने लगती है।

वह भी दो कदम चल पाए थे कि उसे सिद्धार्थ की आवाज आती है सिद्धार्थ ने सचिन से कहा तुम्हारी इस मूवी में 70% इन्वेस्टमेंट में करने वाला हूं इस हिसाब से जो हीरोइन में डिसाइड करूंगा वहीं इसमें होगी और तुम माया को ही लो। सचिन के पास भी इसके बाद कोई दूसरा रास्ता नहीं था उसने माया को ही हां कह दिया।

श्रद्धा गुस्से और हारने से मोर का सिद्धार्थ को देखते हैं जिसके चेहरे पर एक स्माइल थी जैसे वह श्रद्धा को चिढ़ा रहा हो, वही माया के चेहरे पर कुटिल मुस्कान थी जैसे वह श्रद्धा को यह दिखाना चाह रही हो कि तुम्हारे पति को तुम्हारी कोई वैल्यू नहीं है बल्कि तुम्हारे से ज्यादा उसे मेरी वैल्यू है।

श्रद्धा उन दोनों के पास आती हो रहती है कोई इतना शेमलेस कैसे हो सकता है, वैसे सही है तुम जैसे शिमला से इंसान के लिए यही शेमलेस लड़की परफेक्ट है यह करके वह वहां से जाने लगती है कि सिद्धार्थ उसका हाथ पकड़ लेता है, तुम मुझे ऐसा नहीं कह सकती, श्रद्धा गुस्से से कहती है तुम जो चाहे वह कर सकते हो और मैं तुम्हें कुछ भी नहीं कह सकती, तुमने मुझे समझ के क्या रखा है हां एक तो तुम दोनों ने मिलकर मुझे मेरा काम चुरा लिया ऊपर से तो मुझे यह कर दिखा रहे हो छोड़ो मेरा हाथ जाने दो मुझे।

लेकर सिद्धार्थ उसके हाथ को नहीं छोड़ता उसे अपने साथ लेकर चला जाता है।

उसके जाने के पास वहां पर खड़े रहे लोग जो तमाशा देख रहे थे वह लोग माया को देखकर कहते हैं, वैसे किसी ने सही कहा है अगर आपका बैकग्राउंड मजबूत हो तो आप चाहे कितने घटिया एक्टर क्यों ना हो अच्छे से अच्छे रोल आपको मिल ही जाते हैं यह बोलकर वहां पर खड़ी कुछ लड़कियां जो ऑडिशन के लिए आई थी वह माया को देखकर हंसने लगती है असल में तो वह सब माया का मजाक उड़ा रही थी क्योंकि उन सबको पता था कि माया की एक्टिंग स्क्रीन बिल्कुल भी अच्छी नहीं है वह सिर्फ सिद्धार्थ के सपोर्ट की वजह से इतनी आगे निकल रही है।

माया को यह सब सुनकर अपनी बेइज्जती महसूस होती है और वह गुस्से से वहां से चली जाती है।

वहीं दूसरी ओर सिद्धार्थ जबरदस्ती श्रद्धा का हाथ पकड़ कर अपने साथ पार्किंग लोट में लाता है और उसे अपने गाड़ी में बैठ कर ड्राइवर से गाड़ी चलाने को कह देता है, मेरा गुस्से से अपना हाथ चुराती है और कहती है क्या बदतमीजी है पहले तुमसे कहा ना  मुझे नहीं रहना तुम्हारे साथ।

श्रद्धा सिद्धार्थ से बिल्कुल ही बात नहीं करना चाहती थी इसलिए वह गुस्से से विंडो साइड देखने लगती है कि सिद्धार्थ से कहता है, आखिर तुम क्यों मुझसे डिवोर्स लेना चाहती हो तुम्हारे पास क्या नहीं है इतना आलीशान आलीशान घर है ब्रांडेड कपड़े ब्रांडेड ज्वैलरी ब्रांडेड शूज सब कुछ है तुम्हारे पास तो तुम डिवोर्स क्यों लेना चाहती हो तुम्हें लगता है तुम मुझसे अलग होकर सरवाइव भी कर पाओगी। उसकी बातों पर श्रद्धा का गुस्सा और बढ़ जाता है और वह गुस्से से उसे उंगली दिखा कर कहती है यह तुम्हारी प्रॉब्लम नहीं है मैं सरवाइव कर पाऊंगी या नहीं कर पाऊंगी यह मेरी प्रॉब्लम है अच्छा होगा तुम अपने काम से कम रखो और जल्द से जल्द डाइवोर्स पेपर पर साइन कर दो।

श्रद्धा मेरी बात को समझने की कोशिश करो मैं तुम्हें डिवोर्स नहीं दूंगा, तभी वह पीछे से एक बैग निकाल कर श्रद्धा के सामने करता है, श्रद्धा उसे देखकर कहती इसमें क्या है, तो सिद्धार्थ कहता तुम्हारे लिए खोल कर देखो, श्रद्धा जब उसे देखते हैं तो उसमें एक ब्लू डायमंड का बना हुआ ब्रेसलेट होता है, श्रद्धा को याद आता है कि उसने इस ब्रेसलेट को जब देखा था तो इसे बहुत पसंद आया था लेकिन इसके डिजाइनर ने इसे बेचने से मना कर दिया था।

सिद्धार्थ देख सकता था कि श्रद्धा को वह ब्रेसलेट देकर कितनी खुशी हुई है वह उससे कहती है क्या यह मेरे लिए है, सिद्धार्थ कहता है हां जी कंपनी की वह डिजाइनर थी उसे कंपनी ने हमारे साथ कोलैबोरेट किया है उसी के गिफ्ट के तौर पर उन लोगों ने मुझे यह दिया था अभी मेरी किसी काम का नहीं है इसलिए मैं तुम्हें दे रहा हूं।

श्रद्धा थोड़ी देर पहले उसे ब्रेसलेट को देखकर जितनी खुश हो गई थी अब उसके चेहरे पर इतनी मायूसी आ गई, सिद्धार्थ ने इस बात को नोटिस नहीं किया और आगे कहा तुम जो जो चाहती हो वह तुम्हें मिल जाएगा जब तुम जिस चीज पर हाथ रखोगे वह तुम्हारी हो जाएगी बस तुम्हें डाइवोर्स की बात को अपने दिमाग से निकाल दो और आगे से कभी भी उसे सिग्मा के कंपनी के सीईओ से मिलने की कोशिश मत करना उसे अपने सारे कॉन्टेक्ट तोड़ दो और घर में चुपचाप रहो जैसे पर आज तक रहती आई हो।

सिद्धार्थ की ऐसी बातें सुनकर श्रद्धा का गुस्से से पर हाय हो जाता है और वह कहती है तुम्हारे जितना शेमलेश इंसान मैंने आज तक नहीं देखा, नहीं चाहिए मुझे तुम्हारा कोई भी गिफ्ट यह कहकर वह उसे ब्रेसलेट को बाहर फेंक देती है, असिस्टेंट जब यह देखा है तो वह घबराकर गाड़ी को रोक देता है, और बाहर जाकर जल्दी से वह ब्रेशलेट उठाकर ले आता है क्योंकि वह जानता था कि वह ब्रेसलेट कितना प्रेशियस है।

सिद्धार्थ को भी गुस्सा आ गया था असिस्टेंट गौतम जल्दी से हवा लाल का ब्रेसलेट सिद्धार्थ को देता है और वह श्रद्धा की और बधाई लगता तो श्रद्धा कहते हैं मुझे नहीं चाहिए तुम्हारा यह गिफ्ट रखो अपने पास और अगर अपने पास ना रख सकते हो तो ले जाकर अपनी उस माया को दे दो।

सिद्धार्थ को गुस्सा आ गया क्योंकि श्रद्धा बार-बार उसकी माया का नाम जोड़ रही थी उसने गुस्से से धीरज को गाड़ी रोकने को कहा धीरज ने गाड़ी रोक दी तो उसने श्रद्धा की ओर देखा और कहा गाड़ी से उतरा यहां से जैसे हो सके वैसे मेंशन आ जाना यह बोलकर सामने देखने लगता है।

थोड़ी देर में उस धर्म की आवाज आती है जब वह साइड में देखा है तो श्रद्धा गाड़ी से उतर गई थी उसने बहुत जोर से दरवाजे क़ो बंद किया था, एक पल के लिए तो सिद्धार्थ हैरानी रह गया उसे नहीं लगा था कि श्रद्धा सच में उसकी बात को इतनी सीरियस ले लेगी और गाड़ी से उतर जाएगी।

उसे भी गुस्सा आ गया और उसने भी धीरे से गाड़ी आगे बढ़ाने को कहा, धीरज ने उससे कहा सर यह बहुत ही आउट एरिया यहां पर मैं को कोई भी गाड़ी नहीं मिलेगी और मेंशन भी यहां से काफी दूर है। सिद्धार्थ ने कहा तुम गाड़ी बढ़ाओ तुम्हें देखा नहीं उसका एटीट्यूड। उसके बाद पर धीरज ने उससे कहा सर आपको नहीं लगता कि आप कुछ ज्यादा ही रूड हो रहे हैं मैं के साथ, आपने उनसे झूठ क्यों बोला कि आपको ब्रेसलेट ऐसे गिफ्ट के तौर पर मिला है, आपको उनसे सच बोलना चाहिए था कि आपने कितने एफर्ट्स लगाने के बाद वह ब्रेसलेट उनके लिए लिया है, अगर आप ऐसा ही करते रहेंगे तो एक दिन मैं आपको छोड़कर हमेशा के लिए चली जाएगी।

सिद्धार्थ कुछ नहीं कहता और उसे गाड़ी वापस स्टंट करने को कहता है ताकि वह श्रद्धा को वापस ले जा सके लेकिन जैसे वह गाड़ी वापस करके वहां तक पहुंचाते हैं वहां पर श्रद्धा उन्हें कहीं भी दिखाई नहीं देती।

धीरज कहता है लगता है सर मैं को कोई लिफ्ट मिल गया और वह वहां से चली गई। सिद्धार्थ को भी यही लगता है तो वह मेंशन आ जाता है मेंशन आने के बाद उसने अपनी  मेरे से पूछा कि क्या श्रद्धा वापस आए तो उसने मना कर दिया। सिद्धार्थ का दिमाग खराब होने लगा तो उसने श्रद्धा को फोन लगाया। थोड़ी देर बाद श्रद्धा ने फोन उठाया तो सिद्धार्थ ने कहा तुम कहां हो अब तक मेंशन क्यों नहीं पहुंची।

उसके बात पर श्रद्धा ने उसे जवाब दिया मैंने पहले कहा था कि मुझे तुम्हारे साथ नहीं रहना इसलिए मैं मेंशन क्यों हूं मैं अपनी फ्रेंड के साथ हूं आप यही रहूंगी आज के बाद हम तभी मिलेंगे जिस दिन हमें डिवोर्स होना होगा।

सिद्धार्थ कुछ कहता उसके पहले ही श्रद्धा ने फोन कट कर दिया था।

उसके बाद सुनकर सिद्धार्थ को गुस्सा आ गया उसे समझ में नहीं आता की औरत क्यों डिवोर्स के पीछे पड़ी हुई है। सिद्धार्थ ने गुस्से से अपना फोन पटक दे जिससे उसके फोन के टुकड़े-टुकड़े हो गए।

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