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निशान (पार्ट,28)

सोवी कहता है " भला वो मुझे क्यों नही पसंद होगी?मुझे सभी इंसान पसंद है और शिन जुई तो मेरी विधार्थी है बचपन से मै उसे जानता हूं । वो बस 8s साल की थी जब मै उसे युद्ध कला सिखाता था, मेरे सभी शुभ चिंतको मै पसंद करता हूँ लेकिन तुम ऐसा क्यों पूछ रहे हों ?

जियान ने सोवी के पास बैठते हुए कहा "नही कुछ नहीं !दरअसल जियान क्या बोलता? आख़िर क्यों वो ऐसा करने लगता है उसे खुद नहीं पता था।

सोवी ने कहा _ तुम बहुत थक गए हो?

जियान ने कहा नही मुझे ऐसे सफर की आदत है हम लावोमेन कबीले कब तक पहुंचेंगे?

सोवी कहता है,बस अगले दो दिन बाद हम लावोमेन कबीले में होगे!

जियान ने कहा हां ,हमे जल्दी से स्वान कबीले के प्राचीन पुस्तक लेनी होगी कही उन्होने उस पुस्तक को जागृत न कर दिया हो?

सोवी ने गंभीरता से कहा हो सकता है लेकिन अभी तक ऐसे कोई संकेत नहीं मिला है क्युकी पुस्तक को जागृत होने के पश्चात मुझे अध्यात्मिक रूप से आभाष हो जायेगा । उस पुस्तक को इतनी आसानी से जागृत नही किया जा सकता है उस पुस्तक का गलत प्रयोग करने के लिए कई योद्धा की बलि यानी पवित्र स्पिरिट की बलि की आवश्यकता होगी ।

जियान ने पूछा "वो पवित्र स्पिरिट किसकी हो सकती है?

सोवी ने कहा_वो स्पिरिट किसी भी अच्छाई पर चलने वाले योद्धा की हो सकती हैं । शिन जुई जिस कबीले की सेनापति है वहा के राजकुमार का अपहरण उन्होने इसी लिए किया है। वो स्पिरिट मेरी भी हो सकती है और तुम्हारी भी, लेकिन अंत मे उन्हें उस स्पिरिट की जरूरत होगी, जो उस पुस्तक के दावेदार मे से होगा!सोवी बहुत गंभीरता से जियान से बात किए जा रहा था।

लेकिन जियान का ध्यान तो सोवी के चेहरे पर था, ये वाकई में सुंदर है तभी तो लड़कियां इसे घूरती रहती है मुझे तो अब तक लगता था सबसे सुंदर मै ही हूं । लेकिन सोवी भी बुरा नही है, मैने जब पहली बार सोवी देखा था तभी मुझे सुंदर लगा था, वह ख़ुद ही मुस्कुरा कर सोच रहा था।

सोवी ने पूछा ये सफर पूरा होने के बाद तुम सच में अपने कबीले चले जाओगे क्या तुम अपनी शिक्षा पूरी नहीं करोगे?

जियान_ ने कहा मुझ जैसे योद्धा को किसी भी शिक्षा की जरूरत है क्या? और स्वान कबीले के कठोर नियम में रहना मेरे लिए कैद जैसा है। अगर मेरे चाचा का दबाव नही होता तो मै स्वान कबीले को सपने में नही सोच सकता था!

सोवी ने कहा_ क्या तुम्हे स्वान कबीला बिलकुल भी पसंद है और स्वान कबीले के लोग भी पसंद नहीं है?

जियान ने कहा,,,,लोगो से क्या मतलब! वहा पसंद करने जैसा है ही कौन? । लड़कियों से वहा बात करने की अनुमति नहीं है और एक तुम हो जो बहुत ही खड़ूस हो । लेकिन मै अब तुमको अपना सबसे अच्छा दोस्त मानता हूं और तुम मेरे जीवन में वो पहले इंसान को जिसकी परवाह मै करता हूं ,वरना मेरे पास कोई ऐसा नहीं जिसकी परवाह मै कर सकू या उसे अपना बोल सकू।

सोवी ने कहा,और परिवार?

जियान ने कहा ,कहने को तो मेरे पास पूरा परिवार है, लेकिन कोई अपना नहीं है ,माता पिता बचपन में ही बिछड़ गए थे ,चाचा ने परवरिश की, जिनको मैं पिता बोलता हूं ,कहने को तो वो मुझे बेटा मानते हैं ,लेकिन असल में सब मेरे वशियत के पीछे है, क्युकी मै अपने कबीले का होने वाला कुलप्रमुख हूं अपने पिता का इकलौता अधिकारी मै ही हूं ! चाची , चचेरे भाई बहन ने कभी मुझे प्यार नही किया एक परिवार होते हुए भी मुझे कभी परिवार का प्यार नही मिला । लेकिन तुम से मिलने के बाद ऐसा लगता है की कोई मिले न मिले एक अच्छा दोस्त जरूर मिल गया है । जियान आज पहली बार इतना भावुक हुआ था । सोवी ने लेटे हुए ही जियान के सर पर हाथ फेरते हुए कहा तुम कभी अकेले नहीं थे और सोवी को एक पल के लिए लगा कि शायद यहीं समय है जियान को सच बताने का सोवी कुछ बोलता उससे पहले शिन जुई आ गई।

आते ही उसने बच्चो की तरह जिद करते हुए कहा "ये क्या मास्टर आप जब देखो तब इस बेवकूफ को ही प्यार करते हैं, आप तो मुझे जरा भी प्यार नही करते हैं।

शिन जुई भी वही बैठ गई! सोवी का बुखार बढ़ते ही जा रहा था रात भी हो चली थी इतने में बूढ़ी मां सबके लिए खाना लेकर आ गई उन्होने सबको अच्छे से खाने के लिए दिया ,जियान ने ख़ुद सोवी को अच्छे से खिलाया और कहा "तुम रोज अपना हिस्सा हम दोनो को देते थे इसलिए कमजोर हो गए हो लेकिन मै हूं न अब तुम्हारा ख्याल रखने के लिए ।

जियान की बात सुन कर सोवी को अब महसूस हो रहा था कि जियान उसके लिए भावनाएं रखने लगा है बस सोवी को अब सफर पूरा होने का इंतजार था ।

खाना खाने के बाद शिन जुई सो गईं थीं लंबे सफर के कारण सबको बहुत नींद आ रही थीं बूढ़ी मां ने जियान को सोवी के बुखार के लिए जड़ी बूटियों से बनी दवाई दी जियान ने दवा सोवी को खिला दिया और चुप चाप सोवी के पास ही बैठ गया ।

। खुले आसमान के नीचे, झीनी हवाओ की सरसराहट, चांदनी रात में जहां चांद अपने खुबसूरती के साथ चमक रहा था सब तरफ पेड़,पौधे और जुगनू जगमगा रहे थे ऐसी सुहानी और लुभावन रात में जियान को पहली बार सोवी के पास बैठना अच्छा लग रहा था ।

सोवी ने कहा _ मैं ठीक हूं तुम्हे अब आराम करना चाहिए!

जियान ने जवाब दिया_ नही बिल्कुल नहीं मैं तुम्हारे पास,,,,,,, मेरा मतलब, अभी मुझे नींद नहीं आएगी तुम सो जाओ ! सोवी को तेज बुखार था कुछ ही पल में उसे नींद आ गई । जियान नसोवी के पास बैठा था , वो धीरे से बोला "तुम बहुत अच्छे और उदार इंसान हो सोवी! मै अगर अब तक की जिंदगी मे झाक कर देखूं तो मै तुम जैसा इंसान कोई और नही देखा, जो सबको प्यार करता हो! सबकी फिक्र करता हो, और सबको अपना मानता हो!

आधी रात गुजर चुकी थी, जियान, सोवी के पास ही बैठा था फिर जियान ने सोवी का बुखार देखने के लिए उसके माथे पर हाथ रखा तो बुखार तो बिल्कुल नहीं था लेकिन ये क्या ?

जियान ने जैसे ही सोवी के माथे को छुआ सोवी के हाथ पर जियान का नाम दिख रहा, ये वही सोलमेट का चिन्ह था जो स्वान कबीले के लिए वरदान था ,लेकिन जियान इन सब से अनजान था वो जैसे ही सोवी के माथे पर हाथ रखता था सोवी के हाथ पर उसका नाम दिखता था हालाकि जियान को नही पता था की उसके पास भी सोवी के नाम का निशान था वो भी गले पर।

जियान समझ नहीं पा रहा था की आख़िर क्या हो रहा है! उसने पहले भी एक बार ऐसा देखा था, लेकिन जियान का नाम उसके हाथ पर क्यों है?

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